आपको जिस रास्ते पर जाना है जिस्म से रूह तक, THERE IS A LOT OF TRAFFIC ON THE WAY, SO YOU HAVE TO START EARLY
पग पग पर आप को प्रलोभन (inducements) मिलेंगे, पग-पग पर प्रतिकूलतांए (unfavorable circumstances) आएंगी
पग पग (at each step) पर मन में संशय (doubts) उत्पन्न (generate) होंगे, द्वंद (dualities) आएंगे, दुविधाएं (problems) आएंगी
सब को पार करते हुए जाना है और Traffic भी एसा कि कोई आपको रास्ता देने को तैयार नहीं
कोई रास्ता नहीं देगा बाप, आपको रास्ता बना कर चलना पड़ेगा
“चलते चलते थक गया, न मिली मंजिल नाचीज, यू कहने को चलकर जाना था मुझे जिस्म से रूह तक”
“Walking & walking, I got tired & could not reach my destination, although I was expected to move only from my own body to my own soul”
तन से मन तक उतरना था, मगर कहां हो पाया
“तेरी चौखट पर आना मेरा काम था, पर काम इतना भी मुझसे किया ना गया”
भीतर का कोई भी विकार (bad habit) ऐसा नहीं है जो जल्दी से हट जाए और आपको रास्ता दे दे
आप सोचे कल से गुस्सा नहीं करेंगे और ऐसा हो जाए कि कल से गुस्सा नहीं करेंगे
एक भी विकार आपके नियंत्रण में नहीं है बल्कि आप उन विकारों के नियंत्रण में हैं
Not one bad habit is under your control, rather you are under their control
क्योंकि मार्ग आपको बनाना है, इसलिए समय पर नहीं समय से पूर्व यात्रा आरंभ करिए
परली पार कोई आपकी प्रतीक्षा कर रहा है
AS YOU’D BE FACING LOT OF HURDLES ON THE WAY FROM BODY TO SOUL, NOT ONLY YOU’VE TO MAKE YOUR OWN WAY BUT YOU’VE TO START EARLY, OTHERWISE YOU’D BE LATE (,i.e., death would catch up) - there is “Someone (Lord)” waiting for you beyond this world (परली पार)
आपके अंदर संसार के विचारों की बहुत भीड़ मिलेगी जिस से भयभीत होते हो आप अकेलेपन से
इसीलिए आपको एकांत प्रिय नहीं लगता, क्योंकि जूं ही आप भीतर उतरते हैं तो विचारों की भीड़ आप पर आक्रमण (attack) करती है आप डर जाते हैं
ये जितनी प्रार्थनाएं हैं जितनी स्तुतियां (singing glories) है यह सब आप को एकांत (to be alone with you yourself) में पहुंचाने के लिए हैं